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डीयू के ज्यादातर छात्र नहीं चाहते ऑनलाइन क्लास, 96% छात्र घर के कामों में व्यस्त: सर्वे

दिल्ली। अम्बेडकर विश्वविद्यालय दिल्ली ( एयूडी) छात्र परिषद ने ऑनलाइन शिक्षा को लेकर सर्वे किया है। सर्वे में भाग लेने वाले अधिकांश छात्रों ने ऑनलाइन कक्षाओं को नकार दिया है। सर्वे में शामिल छात्रों ने बताया कि ऑनलाइन कक्षाओं के लिए उन्होंने प्रतिदिन औसतन चार घंटे व्यतीत किए हैं। 73 फीसदी छात्रों ने कहा कि ऑनलाइन कक्षाओं के दौरान उन्हें इंटरनेट की कम गति और अस्थिरता का सामना करना पड़ा है।

वहीं, 47 फीसदी छात्रों ने कहा कि ऑनलाइन कक्षाओं के लिए इंटरनेट पैकेज और वाई-फाई सुविधा की व्यवस्था करने के लिए उन पर वित्तीय बोझ पड़ा है। साथ ही 75 फीसदी छात्रों का मानना है कि ऑनलाइन कक्षाएं सभी जाति, लिंग व क्षेत्रों के लिए सुलभ नहीं हैं।

50 फीसदी छात्रों के पास लैपटॉप नहीं

छात्र परिषद की तरफ से 24 जून से 6 जुलाई के बीच यह सर्वे किया गया था, जिसमें 410 छात्र शामिल हुए थे। सर्वे में शामिल 50 फीसदी छात्रों के पास लैपटॉप नहीं है। वहीं 47.8 फीसदी छात्र स्मार्ट फोन के माध्यम से ऑनलाइन कक्षाओं में शामिल हो रहे हैं और 2 फीसदी छात्रों के पास कोई भी इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस नहीं है।

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96 फीसदी छात्र घर के कामों में व्यस्त

सर्वे में यह निष्कर्ष निकल कर सामने आया कि घर में ऑनलाइन पढ़ाई के लिए माहौल नहीं बन सकता है। सर्वे में 96 फीसदी विद्यार्थियों ने माना कि उन्हें ऑनलाइन पढ़ाई के दौरान ही घर के काम भी करने पड़ रहे हैं। इनमें छात्राओं की संख्या 98 फीसदी है। विद्यार्थियों का घर के कामों में लगने वाले औसत समय प्रतिदिन 2 घंटे 49 मिनट है। वहीं, छात्राओं के लिए यह समय 3 घंटे 1 मिनट है ।

56 फीसदी बोले, फिजिकल हो कक्षाएं

सर्वे में 56 फीसदी से अधिक छात्रों ने फिजिकल कक्षाएं लगाने की बात कही। उन्होंने ऐसा न होने पर जीरो सेमेस्टर घोषित करने की मांग की। वहीं, 9 फीसदी ने सेमेस्टर में ऑनलाइन कक्षाएं चलाने पर सहमति जताई। वहीं, छात्र परिषद ने सभी छात्रों को लैपटॉप उपलब्ध कराने की मांग करते हुए लैपटॉप बैंक बनाने का सुझाव दिया है।

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