कोविड-19 के दौरान विश्वविद्यालयों को परीक्षाएं आयोजित नहीं करनी चाहिए: कपिल सिब्बल
नई दिल्ली।
पूर्व मानव संसाधन विकास मंत्री कपिल सिब्बल ने कहा कि विश्वविद्यालयों को कोविड-19 महामारी के दौरान परीक्षाएं आयोजित नहीं करनी चाहिए और ऑनलाइन परीक्षा लेना भी सही नहीं है क्योंकि यह गरीब छात्रों के साथ भेदभाव जैसा है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने कहा कि कोरोना वायरस के कारण ठीक प्रकार से कक्षाएं चलाए बगैर स्कूलों का 2020-21 शिक्षण सत्र लगभग आधा समाप्त हो चुका है, इसलिए इस वर्ष विश्वविद्यालयों को परीक्षाएं आयोजित नहीं की जानी चाहिए क्योंकि इससे छात्रों पर बेवजह का बोझ पड़ेगा। साथ ही इससे विद्यार्थियों को काफी समस्या होगी।
सिब्बल ने एक साक्षात्कार में कहा, आधा साल गुजर चुका है और हमें नहीं पता कि यह महामारी कब तक चलेगी। ऐसे में विश्वविद्यालयों को इस वर्ष परीक्षाएं आयोजित नहीं करनी चाहिए। उन्होंने कहा, भगवान का शुक्र है कि उन्होंने कुछ समझदारी भरे सुझावों को सुना और बोर्ड परीक्षाओं को रद्द कर दिया। उस प्रभाव की कल्पना कीजिए जो खास तौर पर उन गरीब छात्रों पर पड़ता जिनके पास ऑनलाइन सुविधा नहीं है।
सिब्बल का बयान ऐसे वक्त में आया है जब यूजीसी ने एक कमेटी का गठन कर अंतिम वर्ष के छात्रों के एग्जाम के लिए दिशा-निर्देश व् मार्गदर्शन देने को कहा है।